Report : Media Sarkar Bureau
नई दिल्ली । देश की आम जनता को कम से कम पैसे में ज़रूरत की दवाइयाँ कैसे मिले यह देश के सामने एक बड़ा सवाल है। इस मुद्दे पर केंद्रीय स्वास्थ्य राज्यमंत्री अश्विनी चौबे ने कहा कि जब डॉक्टर इन दवाओं को आगे बढ़ाने में अपनी ज़िम्मेदारी निभाएँगे तभी यह संभव हो पाएगा। केंद्रीय स्वास्थ्य राज्य मंत्री अश्विनी चौबे करुणा फ़ाउंडेशन द्वारा आयोजित डॉक्टरों से सम्बंधित एक विशेष कार्यक्रम “बुक्स ओ’ डॉक्टर” में बोल रहे थे । इस कार्यक्रम में दिल्ली के प्रतिष्ठित एक सौ से ज़्यादा डॉक्टर मौजूद थे । दिल्ली के कॉन्स्टीट्यूशन क्लब में आयोजित इस कार्यक्रम में लगभग 50 से ज़्यादा डॉक्टरों की किताबों की रचनात्मक़ प्रदर्शिनी भी लगाई गई थी ।
स्वास्थ्य राज्य मंत्री श्री चौबे ने प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि परियोजना के बारे में अपने विचार रखते हुए कहा कि – हमारे प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मंत्री सबका साथ सबका विकास की बात करते हैं, जन सामान्य के हित की बात करते हैं । यह योजना भी उसी के फलस्वरूप है। जन औषद्धि योजना को जन जन की योजना है। कार्यक्रम के माध्यम से डाक्टरों के जीवन के पहलू आम जन के सामने रखने की कोशिश की गयी। डाक्टर और अस्पतालों में लोगों के रोष की वजह से हिसा कम कैसे हो इस पर भी चर्चा हुई। इस कार्यक्रम में “जन जन की जन- औषधि” विषय पर एक पैनल डिस्कशन भी हुआ । जिसमें मुख्य रूप से दिल्ली मेडिकल एसोसिएशन के प्रेसीडेेंट डॉ गिरीश त्यागी, IMA के ज्वाइंट सेक्रेटरी अनिल गोयल जो दिल्ली में बीजेपी के डॉक्टर सेल के अध्यक्ष भी हैं, सचिन कुमार सिंह, सीईओ, प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि परियोजना एवं डॉ राज्यवर्धन आज़ाद जैसे कई गणमान्य ने अपने अपने मत रखे।
कार्यक्रम में मौजूद चर्चित पत्रकार और लेखक अनुरंजन झा ने कहा कि डॉक्टर को जनता भगवान मानती है इसलिए उनकी शिक्षा पर भी उतना ही ध्यान दिया जाना चाहिए और पैथोलॉजी की शक्ल में लगातार बढ़ रहे बीमारी के बाजार पर अंकुश लगाने की दिशा में प्रयास होने चाहिए ताकि बिना वजह गरीब लोग जांचघरों की चंगुल में फंसकर अपनी पूंजी नहीं गंवाएं । मंच का संचालन पत्रकार अमिताभ भूषण ने किया।
कार्यक्रम में आए सभी वक्ताओं समेत मुख्यअतिथि अश्विनी चौबे ने बेहतर कार्यक्रम की संकल्पना के लिए करुणा फ़ाउंडेशन के संस्थापक ट्रस्टी – श्री कुंदन कुमार झा, योगेश पंत एवं उनकी पूरी टीम की काफी सराहना की और साधुवाद दिया।